उत्तराखंड में बारिश के बीच लोग दहशत के साये में जी रहे हैं। उत्तरकाशी में वरुणावत पर्वत से गिर रहे बोल्डर ने स्थानीय लोगों में दहशत पैदा कर दी है।
बुधवार को 15वीं वाहिनी राष्ट्रीय आपदा मोचन बल के कमांडेंट सुदेश कुमार दराल के निर्देशन में इंस्पेक्टर राहुल कुमार और उनकी टीम ने पर्वत की करंट लोकेशन पर पहुंचकर स्थिति का जायजा लिया। मंगलवार रात से वरुणावत पर्वत से रुक-रुक कर बोल्डर गिर रहे हैं, जिससे गोफियारा क्षेत्र में कई परिवार अपने घरों से बाहर निकल आए हैं और अफरा-तफरी का माहौल बन गया है।
क्षेत्र के कई परिवार अपने रिश्तेदारों और परिचितों के घर शरण लेने को मजबूर हो गए हैं। जिला आपदा प्रबंधन अधिकारी देवेंद्र पटवाल ने बताया कि सुरक्षा की दृष्टि से गोफियारा क्षेत्र के कुछ लोगों को सुरक्षित स्थानों पर शिफ्ट किया जाएगा, हालांकि इस समय तक इस प्रक्रिया की शुरुआत नहीं हो पाई है।
मंगलवार को दिन में जहां चटक धूप खिली रही, वहीं शाम को मौसम अचानक बदल गया और मूसलधार बारिश शुरू हो गई। बारिश से गोफियारा और पल्ला ज्ञानसू क्षेत्र में कई गाड़-गदेरे उफान पर आ गए, जिससे मलबे में दबे वाहनों को जेसीबी द्वारा निकाला गया। गंगोत्री हाईवे पर भी पानी भर गया। रात में बारिश कम होने पर लोगों ने राहत की सांस ली, लेकिन वरुणावत पर्वत से बोल्डर गिरना जारी रहा, जिससे लोग भयभीत हैं।
भटवाड़ी रोड के साथ मस्जिद मोहल्ले में भी बोल्डर गिर रहे हैं। इस स्थिति को देखते हुए गोफियारा क्षेत्र के कई परिवार जल निगम रोड पर सुरक्षित स्थानों की ओर जा रहे हैं। क्षेत्रीय निवासी प्रताप सिंह रावत ने बताया कि पत्थर गिरने के साथ भूस्खलन जैसी तेज आवाजें भी आ रही हैं, जिससे लोग और अधिक डरे हुए हैं।
2003 में वरुणावत पर्वत से हुए भारी भूस्खलन को ध्यान में रखते हुए, वर्तमान स्थिति की गंभीरता को समझते हुए राहत और बचाव कार्य तेजी से जारी है।